Author(s): प्राजक्ता आनंद, निरूपमा सिंह

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DOI: 10.52711/2454-2687.2025.00013   

Address: प्राजक्ता आनंद1, निरूपमा सिंह2
1शोध छात्रा, समाजशास्त्र विभाग, लखनऊ विश्वविद्यालय, लखनऊ
2डी0 ए0 वी0 डिग्री कॉलेज, समाजशास्त्र विभाग, लखनऊ
*Corresponding Author

Published In:   Volume - 13,      Issue - 2,     Year - 2025


ABSTRACT:
बदलते भारतीय समाज में महिला पुलिसकर्मियों की भूमिका सुरक्षा और सशक्तिकरण का महत्वपूर्ण आधार बन रही है। वर्तमान में महिला पुलिसकर्मियों का प्रतिशत 11-7 है, जो 33 प्रतिशत आरक्षण के लक्ष्य से काफी कम है। राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो के आंकड़े दर्शाते हैं कि महिलाओं के खिलाफ अपराधों की संख्या में बढ़ोतरी हो रही है, जिससे महिला पुलिस बल की आवश्यकता और भी स्पष्ट हो जाती है। पुलिस बल में महिला पुलिसकर्मियों को पितृसत्तात्मक मानसिकता, लैंगिक भेदभाव, और कार्यस्थल पर सुविधाओं की कमी जैसी चुनौतियों का सामना करना पड़ता है। पुलिस प्रशासन में महिला सिपाहियो की संख्या अधिक होने के बावजूद उच्च पदों पर उनकी उपस्थिति निम्न है। शौचालय और अन्य बुनियादी सुविधाओं का अभाव उनके कार्यक्षेत्र को और कठिन बना देती है। महिला पुलिसकर्मियों की भागीदारी न केवल अपराधों की रोकथाम में मददगार साबित हो सकती है, बल्कि समाज महिलाओं में सुरक्षा की भावना भी जागृत कर सकती है। महिला पुलिस को प्रशिक्षण, बेहतर सुविधाएं, और समान अवसर देकर उनके योगदान को बढ़ावा दिया जा सकता है। इसके लिए सरकार और समाज को मिलकर पहल करनी होगी। राजस्थान में 33 प्रतिशत आरक्षण और उत्तर प्रदेश में पिंक बूथ जैसी सुविधाओं के लिए राज्य में उठाए गए साकारात्मक कदम अन्य राज्यों के लिए उदाहरण बन सकते हैं। महिला पुलिसकर्मियों की संख्या और उनकी भूमिका को बढ़ाने में महात्वपूर्ण साबित होगा। समाज में महिलाओं के प्रति जागरूकता बढ़ाने और महिला पुलिस की भूमिका को मजबूती से स्थापित करने की दिशा में यह प्रयास महत्वपूर्ण है।


Cite this article:
प्राजक्ता आनंद, निरूपमा सिंह. बदलते भारतीय समाज में महिला पुलिसकर्मियों की भूमिका: एक समाजशास्त्रीय अध्ययन. International Journal of Reviews and Research in Social Sciences. 2025; 13(2):75-1. doi: 10.52711/2454-2687.2025.00013

Cite(Electronic):
प्राजक्ता आनंद, निरूपमा सिंह. बदलते भारतीय समाज में महिला पुलिसकर्मियों की भूमिका: एक समाजशास्त्रीय अध्ययन. International Journal of Reviews and Research in Social Sciences. 2025; 13(2):75-1. doi: 10.52711/2454-2687.2025.00013   Available on: https://ijrrssonline.in/AbstractView.aspx?PID=2025-13-2-4


सन्दर्भ ग्रन्थ सुचीः
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